सीएम साहब: भ्रष्टाचार के आरोप में घिरे आबकारी निरीक्षक को दे दी जिम्मेदारी, ठेकेदारों में बैचेनी

K.D.

नकली शराब कांड उजागर होने के बाद जिला आबकारी अधिकारी की जिम्मेदारी संभालने वाले अफसर कैलाश बिंजोला देहरादून में अपनी पारी तीन माह ही खेल पाएं। यही नहीं हरिद्वार सर्किल के आबकारी निरीक्षक का अतिरिक्त चार्ज संभालने वाले मानवेंद्र पंवार का दामन पूर्व में दागदार हो चुका है,

उन्हें रुड़की में आबकारी निरीक्षक की तैनाती के दौरान एक ठेकेदार से रिश्वत लेते हुए विजीलेंस ने दबोचा था। भ्रष्टाचार का केस अभी कोर्ट में विचाराधीन है। ऐसे में शराब ठेकेदारों में भी अजीब सा माहौल बना हुआ है। सवाल यह है कि भ्रष्टाचार के आरोप में घिरे अफसरान की तैनाती आखिर क्यों की गई, यह चर्चा आबकारी महकमे में तेजीके चल रही है।


हरिद्वार लक्सर मार्ग पर गांव शाहपुर में देसी शराब के ठेके पर नकली शराब बनाने के प्रकरणका भंड़ाफोड़ होने के बाद जिला आबकारी अधिकारी हरीश जोशी को तबादला कुमाऊं में कर दिया गया था जबकि आबकारी निरीक्षक संजय रावत को निलंबित कर दिया गया था।


उनके स्थान पर देहरादून में तैनात अधिकारी कैलाश बिंजोला के अलावा आबकारी निरीक्षक मानवेंद्र पंवार को अतिरिक्त चार्ज दे दिया गया। इन अफसरान को जिम्मेदारी देने के बाद कई तरह के सवाल खड़े हो रहे है, सबसे बड़ा सवाल गंभीर आरोप में घिरे आबकारी निरीक्षक मानवेंद्र पंवार को जिम्मेदारी दिए जाने को लेकर खड़े हो रहे है।

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